उत्तर प्रदेश

बड़ी खबर_@ उत्तराखंड के इस बड़े रेलवे स्टेशन पर प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र के बन सकते हैं मालिक यह शर्तें करनी होगी पूरी ।।

उत्तराखंड के दूसरे सबसे बड़े रेलवे स्टेशन पर “प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केन्द्र” आउटलेट खोलने की घोषणा रेलवे ने की है जिसके तहत योग नगरी ऋषिकेश रेलवे स्टेशन को चुना गया है यदि आप इन शर्तों को पूरा करते हैं तो आप योग नगरी ऋषिकेश में प्रधानमंत्री जन औषधि केंद्र का आउटलेट खोल सकते हैं जिसमें रेल प्रशासन ने निम्नलिखित योग्यताये एवं शर्ते रखी है ।–

  1. योग नगरी ऋषिकेश रेलवे स्टेशन पर आउटलेट की कुल जगह 120 वर्ग फिट रहेगी I
  2. योग नगरी रेलवे स्टेशन पर इस योजना के अंतर्गत आउटलेट खोलने के लिए ई-नीलामी के माध्यम से (उच्च 1-आधार) नियानुसार प्राप्त की जा सकेगी I
    3.आरक्षित मूल्य : शून्य ( वांछनीय यात्री सुविधा ) होगा I
  3. बयाना राशि जमा: रु. 50,000/- होगी I
  4. कार्यकाल : इस योजना के अंतर्गत स्टेशन पर आउटलेट खोलने का अनुबंध तीन (3) वर्षों के कार्यकाल के लिए होगा।
  5. पात्रता मानदंड- व्यक्तिगत आवेदकों के पास डी.फार्मा / बी. फार्मा डिग्री का होना आवश्यक है या फार्मा डिग्री, या डी. फार्मा / बी. फार्मा डिग्री धारक कर्मचारी नियुक्त हो या जनऔषधि केंद्र के लिए आवेदन करने वाले किसी भी संगठन या एनजीओ को बी.फार्मा / डी.फार्मा डिग्री धारकों को नियुक्त करना होगा और उसे ई-नीलामी मॉड्यूल पर अपलोड करना होगा।
  6. विस्तृत दिशानिर्देश फार्मास्यूटिकल्स एंड मेडिकल डिवाइसेज ब्यूरो ऑफ इंडिया ( पीएमबीआई ) की वेबसाइट http://janaushadi.gov.in पर उपलब्ध हैं। योग नगरी ऋषिकेश रेलवे स्टेशन पर “प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि केन्द्र” आउटलेट खोलने हेतु ई-नीलामी की जानकारी www.ireps.gov.in पर प्राप्त की जा सकेगी, लेकिन ई-नीलामी की तिथि समाचार पत्रों के माध्यम से प्राचर-प्रसार पर होने पर ही यंहा www.ireps.gov.in पर जानकारी प्राप्त हो सकेगी I
  7. फैब्रिकेशन का कार्य -आउटलेट का निर्माण रेलवे द्वारा किया जाएगा और इसे नियानुसार संचालक को प्रदान किया जाएगा। लाइसेंसधारी. हितधारकों के लिए लाभ :-
  8. कोई भी व्यक्ति जिसके पास फार्मा डिग्री है या किराए पर डिग्री धारक है, कोई भी संगठन, एनजीओ, सरकारी अस्पताल, मेडिकल कॉलेज आदि जन औषधि केंद्र खोलने के लिए पात्र हैं।
  9. मार्जिन और प्रोत्साहन :-
    ( i ) जन औषधि केंद्र संचालकों को 5 लाख रूपये तक की सहायता प्रदान की जाती है I यह सहायता राशि ,केंद्र द्वारा की गयी मासिक खरीद का 15 % होती है ,जिसकी अधिकतम सीमा 15,000/- रूपये प्रति माह है I
    ( ii ) विशेष श्रेणी के आवेदक के लिए 2.00 लाख रुपये का एकमुश्त अतिरिक्त प्रोत्साहन। महिलाएं उधमी, दिव्यांगजन, भूतपूर्व सैनिक, अनुसूचित जाति ,अनुसूचित जनजाति।
  10. ब्रांडेड दवा की तुलना में प्रधानमंत्री भारतीय जन औषधि का मूल्य ( एमआरपी ) में बड़ी ( लगभग 50% से 90% ) बचत होती है I
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