गर्मी में पेयजल व्यवस्था से निपटने के लिए अभी से होने लगी तैयारी।
शीशमहल वाटर ट्रीटमेंट प्लांट की सुरक्षा के लिए लगेंगे सीसीटीवी कैमरे।
हल्द्वानी
हल्द्वानी महानगर को पेयजल आपूर्ति करने वाले शीश महल स्थित जल शोधन संयत्र गृह (वाटर ट्रीटमेंट प्लांट) की स्थापना 1965 में हुई थी, तब से आज तक शीशमहल प्लांट के जरिये जल संस्थान द्वारा महानगर के साथ ही आसपास के ग्रामीण ईलाकों में गोला नदी से प्राप्त होने वाले पानी का फिल्टरेशन एवं क्लोरीनेशन करने के उपरान्त सप्लाई की जाती है। शनिवार की देर सांय जिलाधिकारी श्री सविन बंसल ने शीश महल स्थित प्लांट, शीतलाहाट स्थित जल संस्थान के प्लांटों का निरीक्षण किया।
इसके अलावा उन्होंने एक किलो मीटर पहाड़ी रास्ता तय कर शीतालाहाट प्लांट को मिलने वाले पानी के स्त्रोत का भी मौका मुआयना किया।
शीश महल प्लांट पर जिलाधिकारी ने मिलने वाले पानी के प्रशोधन प्रक्रिया के साथ ही क्लोरीनेशन की प्रक्रिया का भी अध्ययन किया। उन्होंने शीश महल प्लांट की सुरक्षा के लिए 12 सीसीटीवी कैमरे लगाये जाने की स्वीकृति दी तथा प्लांट के जीर्ण-क्षीर्ण भवन की आवश्यक मरम्मत एवं रख-रखाव के लिए खनिज फाउण्डेशन मद से धनराशि देने की भी सहमति दी। श्री बंसल ने शीतालाहाट प्लांट का निरीक्षण किया। शीतालाहाट प्लांट को जल आपूर्ति करने वाले गधेरे के निरीक्षण के दौरान पानी की क्षमता को देखते हुए 200 एमएम की 750 मीटर लम्बी नई पेयजल लाईन बनाने का प्रस्ताव उपलब्ध कराने के निर्देश अधिशासी अभियंता जल संस्थान विशाल सक्सेना को दिए।
उन्होंने का कि जल संस्थान को प्लांटो की सुरक्षा, मरम्मत तथा शीतलाहाट गधेरे से नई पेयजल लाईन हेतु धनराशि खनिज फाउण्डेशन मद से दी जायेगी। उन्होंने जल संस्थान के अधिकारियों से कहा कि वे लोगों को शुद्ध पेयजल उपलब्ध कराये तथा बीमारियों से बचाव के लिए क्लोरीनेशन का कार्य किया जाये, पेयजल वितरण टैंको से समय-समय पर पानी के सैम्पल लेकर जाॅच भी करायी जाये।
निरीक्षण के दौरान सिटी मजिस्ट्रेट प्रत्यूष सिंह, अधिशासी अभियंता विद्युत डीके जोशी आदि मौजूद थे।